पेट में गैस होना एक आम स्वास्थ्य समस्या है जो अक्सर हमारे लिए शर्मिंदगी या उपहास का कारण भी बनती है। गैस के कुछ लक्षणो में डकार लेना, पेट फूलना, और सूजन इत्यादि शामिल हो सकते है। इस समस्या के कारणो का पता लगा कर आप इस समस्या से आसानी से छुटकारा पा सकते है। हमारी दिनचर्या और हमारा खान-पान इसमें एक महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है।
गैस का कारण बनने वाले भोजन से बचे:
मनुष्य का शरीर मुख्यतः खान-पान पर निर्भर करता है। परंतु भाग दौड़ के इस समय में भोजन की जगह जंक फूड ने ले ली है। तले हुए भोजन का इस्तेमाल कम से कम करें, जीतना हो सके घर पर बना हुया भोजन ही इस्तेमाल करें। रात को सोते समय कम ओर हल्का भोजन ही ग्रहण करें।
खाना समय पर खाये:
भोजन करना अपने आप में एक सरल काम हो सकता है लेकिन खाने में की गयी सरल गल्तिया एक बड़ा बदलाव ला सकती है | हमारे लिए यह जानना बहुत आवशयक है की खाना खाने का सही समय कौन सा है | कई बार हम अपने नाश्ते में देरी करते है या हम अपना नाश्ता ही नहीं करते | सोने से कितनी देर पहले आप खाना खाते हैं? आप भोजन के बीच कितना अंतराल देते है ? ये सब बाते आपके स्वास्थ्य पर गंभीर असर डालती है | आपका स्वास्थ्य मुख्य तौर पर आपके खान-पान पर ही निर्भर करता है |
आइए जाने खाना खाने के सही समय के बारें में :
नाश्ता :
दोपहर का भोजन :
खाना खाने के आधा घंटा पहले या आधा घंटा बाद ही पानी पिये। यदि आप खाना खाते समय पानी पीते है तो आप पेट में मौजूद खाना पचाने वाले एसिड को खो देते है। दिन में कम से कम 3-4 लिटर पानी का सेवन करें
खाना धीरे खाएं:
खाना धीरे खाएं ताकि खाना खाते समय आप कम से कम गैस निगल सके। इसके अलावा धूम्रपान, च्विंगम चबाना या फिर स्ट्रॉ का इस्तेमाल करके किसी द्रव्य को पीना भी आपके शरीर में अत्याधिक हवा का कारण बन सकता है।
कृत्रिम मिठास से बचें:
शुगर फ्री खाद्य पदार्थो में अक्सर सोर्बिटोल एवं अन्य शुगर एल्कोहल का इस्तेमाल किया जाता है जो अक्सर गैस का कारण बनते है।
पुदीना चाय पीना:
पुदीने में मौजूद मेथनोल पेट की मांसपेशियों को आराम पहुंचता है। घबराहट और तनाव का असर कम करके कि पेट को शांत महसूस कर सकते हैं।
कैमोमाइल चाय पीना:
यदि पुदीना अपनी कल्पना के अनुरूप नहीं है, या आप के लिए असरदार प्रतीत नहीं होता है, तो कैमोमाइल एक अच्छा रास्ता है। यह बहुत उपयोगी है क्योंकि जर्मनी में, हर्बल उपचार पश्चिम की तुलना में अधिक बार उपयोग किया जाता है और इसे जाना जाता है “ कुछ भी करने में सक्षम “ के नाम से।
व्यायाम जरूर करें:
खाने के साथ साथ जरूरी है शरीर को व्यायाम देना। दिन में कम से कम 30 मिनट का व्यायाम जरूर करें एवं सैर को अपनी दिनचर्या में शामिल जरूर करें। यदि आपकी सीटिंग जॉब है तो कम से कम हर 1 घंटे के बाद अपनी सीट से उठकर थोड़ी देर टहल जरूर ले।
कद्दू खाओ :
गैस आमतौर पर अनुचित भोजन पाचन के कारण होता है । हमें पचाने के लिए फाइबर कठिन है , इसलिए यह थोक में हमारे पेट से होकर गुजरता है । यह छोटी आंत में नष्ट नहीं हो पता और हमारी बड़ी आंत में चला जाता है जहां पर प्राकृतिक बैक्टीरिया उस पर दावतें उड़ता है। उनके कुतरने की इस प्रक्रिया में कई किस्म की गैसों का निर्माण होता है जो हमारे लिए कई समस्यायों का कारण बनता है। कद्दू आपको इस समस्या से मुक्ति दिला सकता है।
गैस का कारण बनने वाले भोजन से बचे:
मनुष्य का शरीर मुख्यतः खान-पान पर निर्भर करता है। परंतु भाग दौड़ के इस समय में भोजन की जगह जंक फूड ने ले ली है। तले हुए भोजन का इस्तेमाल कम से कम करें, जीतना हो सके घर पर बना हुया भोजन ही इस्तेमाल करें। रात को सोते समय कम ओर हल्का भोजन ही ग्रहण करें।
खाना समय पर खाये:
भोजन करना अपने आप में एक सरल काम हो सकता है लेकिन खाने में की गयी सरल गल्तिया एक बड़ा बदलाव ला सकती है | हमारे लिए यह जानना बहुत आवशयक है की खाना खाने का सही समय कौन सा है | कई बार हम अपने नाश्ते में देरी करते है या हम अपना नाश्ता ही नहीं करते | सोने से कितनी देर पहले आप खाना खाते हैं? आप भोजन के बीच कितना अंतराल देते है ? ये सब बाते आपके स्वास्थ्य पर गंभीर असर डालती है | आपका स्वास्थ्य मुख्य तौर पर आपके खान-पान पर ही निर्भर करता है |
आइए जाने खाना खाने के सही समय के बारें में :
नाश्ता :
- उठने के 30 मिनट के भीतर ही नाश्ता कर ले|
- नाश्ता करने के लिए आदर्श समय 07:00 है
- नाश्ता सुबह 10:00 बजे से पहले करे |
- नाश्ते में प्रोटीन युक्त आहार सुनिश्चित करें
दोपहर का भोजन :
- दोपहर का भोजन करने के लिए आदर्श समय 12:45 है
- कोशिश करें की आपके नाश्ते और दोपहर के भोजन के बीच कम से कम 4 घंटे का अंतराल हो |
- दोपहर का भोजन 4:00 बजे से पहले करें |
- रात्री का खाना खाने के लिए आदर्श समय 7:00 बजे से पहले है |
- आप अपने खाने और सोने के बीच कम से कम तीन घंटे का अंतराल रखिए |
- रात्री का खाना 10:00 बजे से पहले ही करें |
- सोने से करीब खाने से आप नींद की गुणवत्ता के साथ हस्तक्षेप कर सकते हैं |
- रात को हल्का और कम भोजन करें |
- खाली पेट कभी व्यायाम न करें(विशेष रूप से वजन प्रशिक्षण)
- व्यायाम से पहले खाने में प्रोटीनयुक्त सैंडविच , प्रोटीनयुक्त शेक, गेहूं की रोटी , फलों का इस्तेमाल कर सकते है |
खाना खाने के आधा घंटा पहले या आधा घंटा बाद ही पानी पिये। यदि आप खाना खाते समय पानी पीते है तो आप पेट में मौजूद खाना पचाने वाले एसिड को खो देते है। दिन में कम से कम 3-4 लिटर पानी का सेवन करें
खाना धीरे खाएं:
खाना धीरे खाएं ताकि खाना खाते समय आप कम से कम गैस निगल सके। इसके अलावा धूम्रपान, च्विंगम चबाना या फिर स्ट्रॉ का इस्तेमाल करके किसी द्रव्य को पीना भी आपके शरीर में अत्याधिक हवा का कारण बन सकता है।
कृत्रिम मिठास से बचें:
शुगर फ्री खाद्य पदार्थो में अक्सर सोर्बिटोल एवं अन्य शुगर एल्कोहल का इस्तेमाल किया जाता है जो अक्सर गैस का कारण बनते है।
पुदीना चाय पीना:
पुदीने में मौजूद मेथनोल पेट की मांसपेशियों को आराम पहुंचता है। घबराहट और तनाव का असर कम करके कि पेट को शांत महसूस कर सकते हैं।
कैमोमाइल चाय पीना:
यदि पुदीना अपनी कल्पना के अनुरूप नहीं है, या आप के लिए असरदार प्रतीत नहीं होता है, तो कैमोमाइल एक अच्छा रास्ता है। यह बहुत उपयोगी है क्योंकि जर्मनी में, हर्बल उपचार पश्चिम की तुलना में अधिक बार उपयोग किया जाता है और इसे जाना जाता है “ कुछ भी करने में सक्षम “ के नाम से।
व्यायाम जरूर करें:
खाने के साथ साथ जरूरी है शरीर को व्यायाम देना। दिन में कम से कम 30 मिनट का व्यायाम जरूर करें एवं सैर को अपनी दिनचर्या में शामिल जरूर करें। यदि आपकी सीटिंग जॉब है तो कम से कम हर 1 घंटे के बाद अपनी सीट से उठकर थोड़ी देर टहल जरूर ले।
कद्दू खाओ :
गैस आमतौर पर अनुचित भोजन पाचन के कारण होता है । हमें पचाने के लिए फाइबर कठिन है , इसलिए यह थोक में हमारे पेट से होकर गुजरता है । यह छोटी आंत में नष्ट नहीं हो पता और हमारी बड़ी आंत में चला जाता है जहां पर प्राकृतिक बैक्टीरिया उस पर दावतें उड़ता है। उनके कुतरने की इस प्रक्रिया में कई किस्म की गैसों का निर्माण होता है जो हमारे लिए कई समस्यायों का कारण बनता है। कद्दू आपको इस समस्या से मुक्ति दिला सकता है।