बालों का झड़ना एक गंभीर स्वास्थ्य समस्या है जो स्त्री या पुरुष दोनों में हो सकती है। बालों के झड़ने के पीछे कई कारक हो सकते है जैसे पर्यावरणीय प्रभाव, उम्र बढ़ना , बहुत अधिक तनाव , अत्यधिक धूम्रपान , पोषक तत्वों की कमी , हार्मोनल असंतुलन , आनुवांशिक कारक , खोपड़ी में संक्रमण, गलत या रासायनिक उत्पादों का बालों पर इस्तेमाल , कुछ दवाए और चिकित्सा अवस्था जैसे थायराइड, पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम (पीसीओ) , आयरन की कमी से एनीमिया , और पुरानी बीमारियां।
आपके सिर पर तकरीबन 100,000 बालों की किस्में मौजूद होती है। यदि आप 50 से 100 किस्म को प्रीतिदिन खो देते है तो इसे सामान्य माना जाता है। परंतु यदि ये संख्या बढ़ती है तो इसके बारें में सोचना जरूरी हो जाता है क्योंकि ये गंजेपन का कारण बन सकती है। और आपके लिए यह समय कारवाई करने का है। घर पर उपलब्ध बहुत सी सामाग्री का इस्तेमाल करके आप इस समस्या से छुटकारा प सकते है।
तेल मालिश:
पहला कदम जो आप अपने बालों को झड़ने से बचाने के लिए उठा सकते है ,बालों पर तेल की मालिश करना। बालों और खोपड़ी की उचित मालिश बालों के रोम में रक्त के प्रवाह को बढ़ती है और बालों की जड़ो को मजबूत करती है। इसके अलावा यह तनाव को कम करने में भी महत्वपूर्ण भूमिका अदा करती है। आप इसके लिए बादाम का तेल, जैतून का तेल , अरंडी का तेल , आंवला तेल, या दूसरे तरह के बालों के तेल का उपयोग कर सकते हैं। इस विधि का उपयोग सप्ताह में कम से कम दो बार करें।
आंवला:
बालों के प्राकृतिक और तेज़ विकास के लिए आप आंवले का इस्तेमाल भी कर सकते है। आंवलें में विटामिन-सी भरपूर मात्रा में पाया जाता है जिसकी कमी बालों के झड़ने का कारण बन सकती है। एंटीऑक्सिडेंट, जीवाणुरोधी गुण आँवलें को बालों के विकास को बढ़ावा देने में मदद करते है और खोपड़ी को भी स्वस्थ बनाए रखते है।
आवलें के चूरन या लुगदी में नींबू के रस को मिलाये। इस मिश्रण की सिर पर अच्छी तरह से मालिश करें। सिर को ढक ले और सुबह तक इसे रहने दे। सुबह शैम्पू के इस्तेमाल से बालों को धो लें।
मेथी:
मेथी भी बालों के झड़ने के उपचार में बहुत प्रभावी है। मेथी के बीज में हार्मोन पूर्ववृत्त होते हैं जो बाल विकास को बढ़ाने और बालों के रोम के पुनर्निर्माण में मदद करते है। इसमें बालों के विकास को बढ़ावा देने के लिए प्रोटीन और निकोटिनिक एसिड होते हैं।
रात को मेथी के बीज पानी में भीगने के लिए छोड़ दें और सुबह उसका पेस्ट तैयार कर ले। इस पेस्ट का इस्तेमाल बालों और खोपड़ी पर करें। इसे लगभग 40 मिनट सूखने के लिए छोड़ दें। और फिर पानी की मदद से इसे धो दें। इस विधि का उपयोग एक महिना रोज़ सुबह करें।
प्याज का रस:
प्याज के रस में मौजूद सल्फर की अधिकता बालों के रोम में रक्त परिसंचरण में सुधार, बालों के रोम पुनर्जन्म और सूजन को कम करने में मदद करती है और बालों का झड़ना कम करती है। प्याज के रस में मौजूद जीवाणुरोधी गुण कीटाणुओं और परजीवियों को मारने में मदद करते है और खोपड़ी पर होने वाले संक्रमण को रोकते है। 2002 में प्रकाशित एक अध्यन में यह पाया गया की 74% लोगो ने बालों के झड़ने की समस्या को प्याज के रस से कम किया और महत्वपूर्ण रूप से बालों के विकास का अनुभव किया।
प्याज का रस निकाल कर उसे अच्छी तरह से मिला ले और इसका इस्तेमाल बालों और खोपड़ी की मालिश करने के लिए करें। इसे तकरीबन 30 मिनट के लिए छोड़ दें। पानी से धोने के बाद शैम्पू की मदद लें। इस विधि का उपयोग कई हफ़्तों के लिए सप्ताह में 2 से 3 बार करें।
एलोविरा:
एलोवीरा में मौजूद एंजाईम्स बालों के स्वस्थ विकास में सीधे तौर पर मदद करते है। इसके अलावा यह बालों के पीएच लेवल को वांछनीय स्तर पर ला कर बालों के विकास में बढ़ावा लाते है। खुजली दूर करने, लाली और सूजन को कम करने , बालों को शक्ति और चमक बढ़ाने और रूसी कम करने के लिए एलोवीरा जेल या एलवीरा जूस का इस्तेमाल किया जा सकता है।
बालों पर एलोवीरा जूस या जेल की मालिश करें और इसे कुछ घंटो के लिए छोड़ दें। गुनगुने पानी से धो लें । इस प्रक्रिया को 3-4 बार एक सप्ताह में दोहराएँ।
मुलैठी की जड़:
मुलैठी की जड़ एक अन्य जड़ी बूटी है जो बालों के झड़ने की समस्या को कम करती है। इसमें मौजूद शीतलता प्रदान करने वाले तत्व खोपड़ी पर होने वाली जलन को कम करते है और रूसी एवं गंजेपन से छुटकारा पाने में मदद करते है।
एक चौथाई केसर के चम्मच में एक गिलास दूध व एक बड़ा चम्मच मुलैठी की जड़ का पाउडर डालें। इस मिश्रण को सोते समय बालों व खोपड़ी पर लगाए और सुबह तक छोड़ दें। सुबह पानी के साथ बालों को धो लें। इस विधि का उपयोग सप्ताह में एक से दो बार करें।
चीनी हिबिस्कुस:
चीनी हिबिस्कुस के फूल में कई प्राकृतिक गुण है जो बालों के झड़ने के इलाज में मदद कर सकते हैं। बाल विकास को बढ़ावा देने के अलावा यह रूसी को कम करने, दोमुहे बालों को कम करने, और मजबूत बनने, बालों के सफ़ेद होने की प्रक्रिया को कम करने में भी मदद करता है।
नारियल तेल के दो कप ले और उसमें दो फूल चीनी हिबिस्कुस के डालें। इसे तब तक गरम करें जब तक की यह जल कर काला नहीं हो जाता। टाइल को इस मिश्रण से छान लें। इस तेल को रात को सोने से पहले अपने बाललों और खोपड़ी पर लगाएँ और सुबह होने पर धो दे। इसे एक सप्ताह में कई बार दोहराए। इस फूल का इस्तेमाल आप चाय बनाने के लिए भी कर सकते है और उसकी मदद से बालों को धो सकते है।
चुकंदर:
चुकंदर का रस कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन , पोटेशियम, फास्फोरस, कैल्शियम ,विटामिन-बी और विटामिन-सी से भरपूर होता है और ये सभी पोषक तत्व स्वस्थ बालों के विकास के लिए आवश्यक हैं । अपने आहार में ताजे चुकंदर का रस शामिल करें। इसके अलावा , पालक का रस, अल्फला रस , सलाद का रस, या गाजर का रस इत्यादि से भी बालों को स्वस्थ रखने में मदद मिलेगी ।
वैकल्पिक रूप से चुकंदर के कुछ पत्ते( पानी में उबले हुये) मेहँदी के साथ मिलकर अपने बालों एवं खोपड़ी पर लगाएँ। इसे 15-20 मिनट के लिए रहने दें और फिर बालों को धो दें। एक सप्ताह में ऐसा कई बार दोहराएँ।
अलसी का बीज:
अलसी का बीज ओमेगा -3 फैटी एसिड का एक समृद्ध स्रोत हैं जो बालों का गिरना रोकता है और उनके विकास को प्रोत्साहित करता है। सुबह पानी के साथ एक चम्मच अलसी के बीज का सेवन पानी के साथ करें। आप इंका इस्तेमाल तेल बनाने के लिए भी कर सकते है और सीधे तौर पर अपने बालों पर लगा सकते है।
नारियल का दूध :
नारियल के दूध में मौजूद प्रोटीन बाल विकास को बढ़ावा देने और बाल नुकसान को रोकने कि आवश्यक वसा में समृद्ध है। प्रभावी उपचार के लिए इसमें काली मिर्च और मेथी के बीज का मिश्रण दाल कर इस्तेमाल करें।