क्या आप जानते है की दुनिया में एक जगह ऐसी भी है जिसे कुत्तो का आत्महत्या केंद्र माना जाता है। ये है स्कॉटलैंड का ओवेरटन ब्रिज। इस पुल का निर्माण 1895 में खत्म हुया। अध्ययनों से पता चला है कि 1950 के दशक से 1960 के दशक या उसके बाद से कई कुत्तो ने प्रति वर्ष एक की दर से इस पुल से छलांग लगाई है।
50 फीट ऊंचे इस पुल की खासियत यह है की कुत्ते सिर्फ एक खास जगह से ही नीचे कूदकर आत्महत्या करते है। और ऐसा साफ मौसम के दौरान ही होता है और कूदने वाले कुत्ते सम्पूर्ण रूप से स्वस्थ होते है। इस बात का पता लगाने के लिए विशेषज्ञ, डॉ डेविड सेक्सटन,को वहाँ भेजा गया। उन्होने इस बात का कारण पता करने के लिए कई प्रयोग किए। इस काम के लिए उन्होने 19 साल के हेंड्रिक्स नामक कुत्ते को इस्तेमाल किया। कुत्ता कुछ समय के लिए तो सही चला परंतु उस खास जगह के पास पहुँचने पर किसी खास चीज ने उसका ध्यान आकर्षित किया। परंतु उसके अनुभव ने उसे कूदने नहीं दिया। विशेषज्ञों के दल ने वहाँ पूरी तरह से ध्वनि और आने वाली गंध का परीक्षण किया। परंतु उन्हे कुछ भी ऐसा नहीं मिला जिसकी उन्हे तलाश थी। पुल के नीचे जंगल में उन्होने चूहों, मिंक और गिलहरी को पाया; उनमें से किसी एक के द्वारा उत्सर्जित बदबू कारण हो सकती थी। निर्धारित करने के लिए उन्होंने 10 अलग कुत्तों पर तीन सेंट्स के परीक्षण किए । 70% कुत्ते मिंक कि खुशबू कि तरह आकर्षित हुये। और जब डॉ सैंड से ये पूछा गया कि स्कॉटलैंड में और भी 26,000 दूसरे मींक रहते है तो कुत्ते सिर्फ इसी पुल के नीचे जा कर ही उन्हे क्यों खाना चाहते है तो उनका जबाब था कि यह पुल मार्बल से बना है ओर इसकी मोटाई उस जगह 18 इंच के पास है। इस जगह आ कर उनकी देखने और सुनने कि क्षमता कम हो जाती है और ऐसी स्थिति में उनकी सुघने कि क्षमता ज्यादा काम करती है।
यह पुल मानवीय त्रासदीयो का भी कारण रहा है। अक्तूबर 1994 में, केविन मोय ने अपने दो सप्ताह के बेटे को पुल से नीचे फेक दिया क्यों कि वह उसे शैतान का अवतार मानता था। उसके बाद कई बार उसने उस पुल से कूदकर आत्महत्या करने का पर्यास किया।
50 फीट ऊंचे इस पुल की खासियत यह है की कुत्ते सिर्फ एक खास जगह से ही नीचे कूदकर आत्महत्या करते है। और ऐसा साफ मौसम के दौरान ही होता है और कूदने वाले कुत्ते सम्पूर्ण रूप से स्वस्थ होते है। इस बात का पता लगाने के लिए विशेषज्ञ, डॉ डेविड सेक्सटन,को वहाँ भेजा गया। उन्होने इस बात का कारण पता करने के लिए कई प्रयोग किए। इस काम के लिए उन्होने 19 साल के हेंड्रिक्स नामक कुत्ते को इस्तेमाल किया। कुत्ता कुछ समय के लिए तो सही चला परंतु उस खास जगह के पास पहुँचने पर किसी खास चीज ने उसका ध्यान आकर्षित किया। परंतु उसके अनुभव ने उसे कूदने नहीं दिया। विशेषज्ञों के दल ने वहाँ पूरी तरह से ध्वनि और आने वाली गंध का परीक्षण किया। परंतु उन्हे कुछ भी ऐसा नहीं मिला जिसकी उन्हे तलाश थी। पुल के नीचे जंगल में उन्होने चूहों, मिंक और गिलहरी को पाया; उनमें से किसी एक के द्वारा उत्सर्जित बदबू कारण हो सकती थी। निर्धारित करने के लिए उन्होंने 10 अलग कुत्तों पर तीन सेंट्स के परीक्षण किए । 70% कुत्ते मिंक कि खुशबू कि तरह आकर्षित हुये। और जब डॉ सैंड से ये पूछा गया कि स्कॉटलैंड में और भी 26,000 दूसरे मींक रहते है तो कुत्ते सिर्फ इसी पुल के नीचे जा कर ही उन्हे क्यों खाना चाहते है तो उनका जबाब था कि यह पुल मार्बल से बना है ओर इसकी मोटाई उस जगह 18 इंच के पास है। इस जगह आ कर उनकी देखने और सुनने कि क्षमता कम हो जाती है और ऐसी स्थिति में उनकी सुघने कि क्षमता ज्यादा काम करती है।
यह पुल मानवीय त्रासदीयो का भी कारण रहा है। अक्तूबर 1994 में, केविन मोय ने अपने दो सप्ताह के बेटे को पुल से नीचे फेक दिया क्यों कि वह उसे शैतान का अवतार मानता था। उसके बाद कई बार उसने उस पुल से कूदकर आत्महत्या करने का पर्यास किया।
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